हत्यारे नाबालिग पर बालिग की तरह ही चलेगा केस, परिजनों की याचिका पर हाईकोर्ट का आदेश

Jul 09, 2024

इन्दौर  जस्टिस सुबोध अभ्यंकर की सिगंल बेंच ने चाकू से युवक की हत्या करने के बाद पकड़ाए एक नाबालिग पर लगे हत्या के आरोपों पर बालिग की तरह सुनवाई करते केस चलाने की फरियादी की रिवीजन याचिका स्वीकार कर उसके पक्ष में आदेश पारित कर दिया। कोर्ट ने यह आदेश नाबालिग की कद, काठी और मानसिक मजबूती को देखते हुए जारी किया हैं। प्रकरण हीरानगर थाने से पेश हुआ था जहां नाबालिग आरोपी ने अपने साथी के साथ पेट्रोल चुराते पकड़ाए जाने पर चाकू मारकर युवक की हत्या कर दी थी। पुलिस ने हत्या के बाद आरोपी को गिरफ्तार कर बाल सुधार गृह भेज दिया था।

मामले में आरोपी के परिजनों ने सामान्य अपराधियों की तरह मुकदमा चलाने की मांग करते जुवेनाइल कोर्ट को आवेदन दिया जिस पर जुवेनाइल बोर्ड ने एक कमेटी गठित की जिसने नाबालिग आरोपी का परीक्षण कर उसे शारीरिक और मानसिक रूप से वयस्क की तरह माना। कमेटी ने उक्त रिपोर्ट के बावजूद केस जुवेनाइल बोर्ड के समक्ष ही चलाए जाने की बात कही। इसके खिलाफ आरोपी के परिजनों ने हाई कोर्ट में रिवीजन दायर की। जस्टिस सुबोध अभ्यंकर की खंडपीठ ने रिवीजन याचिका मंजूर करते हुए वयस्क की तरह ही केस चलाए जाने के आदेश जारी किए। ज्ञात हो कि प्रकरण में पकड़ाये आरोपी का एक साथी बालिग है, उस पर पहले से ही सामान्य अपराधियों की तरह केस चल रहा है।


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