लूटा जा रहा है प्रदेष के टोल टैक्स के जरिये जनता को

Sep 09, 2024

 भोपाल। प्रदेष में टोलटेक्स के खेल में जनता को लूटा जा रहा है और इस तरफ किसी का भी ध्यान नहीं है। हकीकत तो यह है कि कहीं लागत से ज्यादा वसूली के बाद भी सालों से जनता को लूटा जा रहा है तो कहीं निर्धारित अंतराल 60 किलोमीटर के भीतर ही एक से ज्यादा टोल प्लाजा बनाकर यह खेल चल रहा है। केंद्रीय सड़क परिवहन मंत्री नितिन गडकरी ने संसद में घोषणा की थी कि अब दो टोल प्लाजा के बीच की दूरी कम से कम 60 किलोमीटर होगी। यदि दूरी कम हुई तो एक टोल को हटाया जाएगा। गडकरी यह भी कहा था कि तीन माह में ऐसे सभी टोल हटा दिए जाएंगे। हालांकि, ऐसा कुछ हुआ नहीं।

 ढाई साल बाद भी कोई गंभीर नहीं

  भारतीय राष्ट्रीय राजमार्ग प्राधिकरण (एनएचएआई) ने अपने मंत्री के इस बयान को कतई गंभीरता से नहीं लिया। गडकरी की यह घोषणा ढाई साल बाद भी धरातल पर नहीं उतर सकी है। हकीकत तो यह है कि  कुछ नेशनल हाइवे पर तो महज 20 किमी की दूरी पर दो टोल प्लाजा हैं। मतलब बीस किमी का सफर तय करना है तो टोल पर दो बार जेब कटानी पड़ेगी। इस वजह से राज्य में आमजन को अत्यधिक टोल देना पड़ रहा है।

   मध्य प्रदेशः 15 किमी में तीन टोल नाके

शिवपुरी में 15 किलोमीटर के अंदर तीन टोल नाके

डबरा से मुरैना के बीच 50 किमी के अंदर दो नाके

शिप्रा -मुंबई हाइवे पर 50.7 किमी के बीच दो नाके

इंदौर उज्जैन रोड पर 35 किमी के अंदर दो नाके

तीन माह में हटेंगे

 गौर तलब है कि -नितिन गडकरी ने 22 मार्च, 2022 को संसद में कहा था कि देष भर में 60 किमी के बीच में टोल नहीं आता है और कुछ जगह चालू है। मैं आज सदन को विश्वास दिलाता हूं कि यह बहुत बार गलत काम हो रहा है, गैर कानूनी है।अब मैं बता रहा हूं कि इसके बाद तीन महीने के अंदर 60 किमी के अंदर एक ही टोल नाका होगा, यदि दूसरा होगा तो उसे बंद किया जाएगा। हमें पैसा भी चाहिए लेकिन लोगों को तकलीफ नहीं देनी चाहिए।


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