सैकड़ों भेल कर्मचारियों ने ज्वलंत मांगों को लेकर सीटू यूनियन के बैनर तले फाउंड्री गेट पर दिया धरना
Ags 31, 2024
लंबित मांगों को लेकर सैकड़ों कि संख्या में भेल कर्मचारियों ने सीटू यूनियन के बैनर तले भेल के फाउंड्री गेट के सामने धरना दिया। यूनियन ने प्रबंधन से मांग किया कि रात्रि 12 बजे तक की शिफ्ट द्वितीय पाली का कर्मचारी नहीं करना चाहता है। अन्य इकाईयों की भांति द्वितीय शिफ्ट किसी भी परिस्थिति में रात्रि 11:15 बजे तक समाप्त किया जाय। यूनियन के अध्यक्ष लोकेन्द्र शेखावत ने कहा कि कर्मचारियों की ज्वलंत मांगों को लेकर प्रबंधन का रवैया पूरी तरह उदासीन है। कई मुद्दे जो इकाई स्तर के होने के बावजूद भी मानव संसाधन विभाग द्वारा कोई सुनवाई नहीं की जा रही है। यूनियन द्वारा विवस होकर चरणबद्ध आंदोलन शुरू किया गया। यूनियन के कोषाध्यक्ष शाहिद अली ने प्रबंधन को शिफ्ट, इंसेंटिव व नाइट अलाउंस आदि के मुद्दों पर अपना विरोध दर्ज कराया। यूनियन के नरेश जादौन ने कहा कि आज यदि कर्मचारियों के पास भरपूर काम होने के बाद भी इंसेंटिव नहीं मिल रहा है तो उसका पूरा जिम्मेदार बीएमएस एवं इंटक है।
इन लोगों ने 6000 रुपये की इंसेंटिव इंसेंटिव स्कीम को बंद करा कर 2000 रुपये प्रतिमाह की इंसेंटिव स्कीम को लागू कराया। जिसका जेसीएम बैठक में सीटू ने कड़ा विरोध दर्ज किया और हस्ताक्षर करने से मना किया। जबकि बीएमएस और इंटक ने जेसीएम में ₹2000 की प्रोत्साहन स्कीम पर हस्ताक्षर करके कर्मचारियों के साथ कुठाराघात किया। यूनियन के विनय कुमार सिंह ने कहा कि भेल का एक भी कर्मचारी रात्रि 11:15 के बाद की शिफ्ट नहीं करना चाहता है कर्मचारी नाइट अलाउंस के बजाय अपने स्वास्थ्य को प्राथमिकता देता है और 11:15 बजे तक की शिफ्ट में भी 100 से 120% तक का काम करने की क्षमता रखता है।
यूनियन के मीडिया प्रभारी अतुल मालवीय ने बताया कि धरने के माध्यम से यूनियन ने 10 हजार रुपये राशि के नई प्रोत्साहन स्कीम लागु करने, इंसलरी कर्मचारियों को इंसेंटिव का 85% राशि प्रदान करने, नाइट अलाउंस 400 रुपये/ रात्रि किए जाने, इंसिंटिव की गणना हेतु सी-आफ को अनुपस्थिति की बजाय उपस्थिति मानकर इंसेंटिव राशि की गणना करने की मांग किया। कार्यक्रम का संचालन यूनियन के वरिष्ठ उपाध्यक्ष सादिक खान ने किया, एवं सैकड़ों कि संख्या में उपस्थित होकर द्वार सभा को सफल बनाने के लिए कुलदीप मौर्य ने भेल कर्मचारियों का आभार व्यक्त किया।